धड़ल्ले से हो रहा अवैध निर्माण, विकास खंड अधिकारी ने नहीं की कार्यवाही। बिजनौर के टाइम्स में छपा टेंडर? तकनीकी सहायक, रोजगार सहायक बन ठेकेदार। विकास खंड अधिकारी उंगलियों पर नाचते हैं इनकी उंगलियों पर। नीचे से ऊपर तक कमीशन-म।
बिजनौर। जनपद के नूरपुर ब्लॉक में प्रदेश सरकार द्वारा निर्धारित मानक व नियमों को ताक पर रख निर्माण कार्यों को अंजाम तक पहुंचाया जा रहा है। मतलब साफ है कि अवैध निर्माण कार्य कराए जा रहे हैं, यह कहना कोई अतिश्योक्ति न होगी। ऐसा ही एक मामला नूरपुर ब्लॉक की ग्राम पंचायत पैजनिया में सामने आया है। यहां अवैध रूप से सड़क निर्माण का दावा अनेक ग्रामीणों द्वारा किया गया है। विश्वस्त सूत्रों के अनुसार संज्ञान में आया है कि ग्राम पंचायत में लगभग चार सौ मीटर की एक सीसी रोड का निर्माण अवैध रूप से किया जा चुका है। कई ग्रामीणों ने नाम न छापने की शर्त बताया कि उक्त सड़क नियमों को ताक पर रख बिना निर्धारित प्रक्रिया अपनाए निर्मित की गई है।
बिजनौर के टाइम्स में छपा टेंडर?– ग्राम पंचायत अधिकारी जितेंद्र कुमार तोमर ने बताया कि उक्त सड़क के लिए निर्धारित प्रक्रिया अपनाते हुए निर्माण कार्य किया जा रहा है। उन्होंने बताया कि उक्त सड़क के निर्माण के लिए बिजनौर से प्रकाशित दैनिक टाइम्स नामक समाचार पत्र में दस दिन पहले विज्ञापन प्रकाशित कराया गया है। मजेदार बात यह है कि वह सुबह लेकर शाम के छह बजे तक भी उक्त टेंडर प्रकाशन का दिनांक बताने में असमर्थ रहे।
तकनीकी सहायक, रोजगार सहायक बने ठेकेदार– मौके पर मौजूद भूरे नामक युवक ने खुद को इस निर्माण कार्य का ठेकेदार बताया। विश्वस्त सूत्रों ने बताया कि वह पड़ोसी ग्राम का निवासी है, जो रोजगार सहायक के रूप में कार्य कर रहा है। वहीं तकनीकी सहायक भी दूसरे पड़ोसी ग्राम का निवासी है, जो नूरपुर ब्लॉक में ही तकनीकी सहायक के रूप में संविदा पर नियुक्त है।
उंगलियों पर नाचते हैं अधिकारी!– विकास खंड अधिकारी उनके खिलाफ कोई कार्रवाई करने से बचते हैं। तकनीकी सहायक अपनी पत्नी के नाम पर अपने कार्य क्षेत्र में आने वाली ग्राम पंचायतो में निर्माण कार्यों को अवैध रूप से अंजाम देता रहता है। अधिकारी महोदय तकनीकी सहायक की शिकायतों को रद्दी की टोकरी में डाल देते हैं। इस गोरखधंधे में शामिल रहने वालों को अभयदान देने से ऐसा जान पड़ता है कि वह तकनीकी सहायक की उंगलियों पर नाचते हैं।
नीचे से ऊपर तक कमीशन– तकनीकी सहायक ने दावा किया है कि नीचे से उपर तक के अधिकारियों को कमीशन देता हूं, मेरा कुछ नहीं बिगड़ेगा। अनुमान लगाया जा सकता है कि निर्माण पूर्णतः अवैध रूप से किया जा रहा है। दूसरी ओर विकास खंड अधिकारी जितेंद्र कुमार शर्मा ने कहा कि इस संबंध में सुबह कोई जानकारी दे पाएंगे, लेकिन इसके बावजूद विकास खण्ड अधिकारी तीन दिन से लगातार कॉल करने बाद भी फोन रिसीव करने को भी तैयार नहीं हैं। अब देखना यह है कि जनपद स्तरीय अधिकारी इस मामले कोई कार्रवाई करते हैं कि नहीं?