श्री गोपेश्वर गौशाला परिवार ने शुरू की अनूठी परंपरा
जीव जंतु भोज, सुंदरकांड पाठ और भंडारा
मलिहाबाद, लखनऊ। वैसे तो गौशाला परिवार हमेशा से समाज को अध्यात्म और संस्कारों का आईना दिखाने का काम करता चला आ रहा है। इसी कड़ी में मंगलवार को जीव भोज परंपरा के तहत जीव जंतु भोज का आयोजन किया गया।

श्री गोपेश्वर गौशाला के सचिव अभिषेक गुप्ता ने बताया उनके पिता की शादी के सफलतम 50 वर्ष पूर्ण हुए। इस उपलक्ष्य में गौशाला परिवार सभी इष्ट मित्रों सहित जीव जंतु भोज का आयोजन किया। इसके अंतर्गत तालाब में पल रही मछलियों और कछुआ को ब्रेड, आटा, कबूतर एवं मोर को दाना, खरगोश को हरी घास, गायों को गुड़ खली चुनी चोकर, चीटियों और गिलहरी झींगुर, चिड़िया आदि को बाग में चावल और शक्कर का भोज कराया गया। साथ ही तुलादान किया गया।

उसके उपरांत सायंकालीन बेला में चिंताहरण हनुमान जी के दरबार में सुंदरकांड पाठ आयोजित कर गौ माता की आरती के साथ सभी भक्तों को प्रसाद वितरण करते हुए विशाल भंडारा आयोजित किया गया। गौशाला प्रबंधक उमाकांत गुप्ता ने बताया उन्होंने अपने माता-पिता की शादी के 50 वर्ष पूर्ण होने की उपलक्ष्य पर इस जीवो भोज परंपरा की शुरुआत की थी, वह परंपरा गौशाला परिवार में निरंतर आगे बढ़ रही है।